Upi Payment News: UPI 2000: भारत में डिजिटल भुगतान के क्षेत्र में एक नया चैप्टर शुरू होने जा रहा है। जानकारी के लिए बताते चलें कि राष्ट्रीय भुगतान निगम एनपीसीआई ने यूनिफाइड पेमेंट्स बैंक से मिलकर नए नियम लागू कर दिए हैं 2025 से संपूर्ण देश में लागू हो चुके हैं।
नए नियमों का उद्देश्य यूपीआई की लेन देन और सुरक्षा साथी पेमेंट तेज और भरोसेमंद बनाना है। यूपीआई ट्रांजैक्शन का हमारे देश के करोड़ों भारतीयों पर पड़ेगा जो दिन प्रतिदिन डिजिटल लेनदेन करने के लिए उपयोग करते हैं। यूपीआई के नए नियमों से संबंधित संपूर्ण जानकारी आज के इस लेख में दी गई है।
UPI New Rule 2025!
01 अक्टूबर 2025 से यूपीआई और केंद्र सरकार के माध्यम से लेनदेन की प्रक्रिया और अधिक सुरक्षित और तेज बनाने के लिए सरकार बड़े कदम उठा दी जा रही है जिससे छोटी और बड़ी दोनों तरह के ट्रांजैक्शन के लिए लिमिट वेरिफिकेशन और सुरक्षा फीचर्स अपडेट किया जा रहे हैं ताकि आने वाले समय में धोखाधड़ी और फ्रॉड जैसी समस्याएं कम से कम हो सकें।
UPI नए नियम के फायदे !
हमारे देश में यूपीआई की भर्ती लोकप्रियता और जून 2025 में 18.4 अरब लेनदेन के साथ 24 लाख करोड़ रुपए के ट्रांजैक्शन के कारण कई बार बढ़ाएं तो आ सकती है इसलिए नए नियमों का मुख्य लक्ष्य सिस्टम की सुरक्षा को बेहतरीन बनाना है ताकि यूपीआई ऐप्स जैसे Google pay, Phonpe और BHIM यूपीआई पर समान रूप से नियम लागू हो सके।
बैलेंस चेकिंग में नई सीमाएं !
यूपीआई के नए नियम के तहत बैलेंस चेकिंग पर अब सरकार द्वारा सीमा तय कर दी गई है। अब किसी भी यूपीआई ऐप के माध्यम से यूजर दिन में अधिकतम 50 वार स्वयं के खाते का बैलेंस चेक कर सकेंगे यदि कोई व्यक्ति ऐप का अधिक इस्तेमाल करता है तो बैंक के द्वारा लिमिट लगा दी जाएगी।
UPI ट्रांजैक्शन स्टेटस चेकिंग में बड़ा बदलाव !
नए नियमों के तहत ट्रांजैक्शन स्टेटस चेक करने पर भी सरकार द्वारा नियंत्रित लगाया गया है। आप किसी भी पेंडिंग पेमेंट या ट्रांजैक्शन का स्टेटस केवल यूजर 3 बार ही देख सकेगा। हर बार चेक करने की बीच कम से कम 90 सेकंड का अंतराल होना अनिवार्य है जबकि पहले सरकार द्वारा इस नियम पर कोई भी सीमा नहीं थी।